Monday 3 September 2018

                           

अँखियाँ भीगी नीर बहे.. 
दोनों जमुना तीर बहे..
धीर अधीर गंभीर बहे..
देखो मन की पीर बहे..

नैन लगा के दिल हारे..
प्रीत पे अपनी जहां वारे..
खोई सुधबुद्ध हुए बावरे..
राधा संग कृष्ण सांवरे..

जिस्म दो एक जान हुए..
एक दूजे के प्राण हुए..
बिछोह में भी जुड़े हुए..
देखो प्रीत का प्रमाण हुए..

©....Kavs"हिन्दुस्तानी"..!!

No comments:

Post a Comment